मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान

मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान : अभियान परिचय उपक्रम : मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश (रजि.)

अजय नाथ झा ‘शास्त्री’
संस्थापक : मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान
प्रकाशक/संपादक : मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश (राष्ट्रीय मैथिली दैनिक)
प्रबंध निदेशक : मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश फोरम
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एक्कैसम शताब्दीक आरंभमे मिथिलाक्षर लुप्तप्राय भऽ गेल छल, कतौह-कतौह कोनो-कोनो गाममे तकला पर मिथिलाक्षरक ज्ञाता भेटैत छलाह, सौराठ वा अन्य गाममे जतय पंजिकार सभ छलैथ, से सभ प्रायः मिथिलाक्षर जनैत रहैथ वा गोटेक कतौह-कतौह पता आदि लिखनाहर एवं किछु शोधकर्ता आदि सब मात्र मिथिलाक्षर जनैत छलैथ ।
मुदा उत्थान-पतन-पुनरूत्थान सृष्टिक नियम छैक आ ताही नियमक अंतर्गत नियंता मिथिलाक्षरक उत्थानक लेल *मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान* केर चयन कयलनि।

तऽ अभियानक परिकल्पना कोना भेल, कोना प्रेरणा भेटल ,की-की बाधा ठाढ भेल, तत्पश्चात कोना अभियान सफल भेल जे आजुक समयमे हजारों नहिं बल्कि लाखोंमे, मिथिलाक्षरक सिद्धहस्त विद्वान बनि चुकल छथि वा बनय के प्रकृयामे छथि। घर-घरमे मिथिलाक्षर आ मिथिलाक्षर साक्षरता अभियानक चर्चा आम बात भs गेल अछि, ताहि पर प्रकाश डालय केर प्रयास कऽ रहल छी।

कोनो सभ्यता-संस्कृतिक जड़ि होइत छैक भाषा आ कोनो भाषाक ओकर लिपि चिरकाल बल्कि सदा-सदा केर लेल जीवन्त राखैत छैक, भाषाक अपन लिपि भाषाक विशिष्ट पहचान होइत छैक, अपन लिपिक माध्यमसँ ओ भाषा गौरवान्वित होइत अछि , अर्थात भाषाक भविष्य रूपी जड़िक बीजतत्व होइत छैक ओकर लिपि। तs हमर सबहक संस्कृति केर जड़िसँ उखाड़य केर काज भs रहल छल आ ताहि लेल सबसँ पहिने ओकर बीजेकेँ लगभग समाप्त कs देल गेल छल। परिणामस्वरूप भाषा सेहो समाप्तिक छोड़ धेने जा रहल छल। तs से सोचि सबसँ पहिने ई सोचलौंह जे बीजे तत्वसँ शुरुआत कयल जाय आ मैथिली भाषाक भविष्य रूपी जड़िक बीजतत्व, अर्थात ओकर लिपि, मिथिलाक्षरक पुनर्जागरण, सभसँ पहिने ठनायल। समादक लेल “मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश” पत्रिका निकालल गेल आ एकर पुनर्जागरणक पहिल उपक्रमक रुपमे लिपि मिथिलाक्षरक पुनर्जागरण ठनायल आ ‘मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान’क यात्रा शुरू भेल।

भगवतीक प्रेरणा बलवती भेलै आ पत्रिकाक पहिले अंकसँ तकर आह्वान भs गेल। प्रारंभिक पाठ्यक्रमक संग रोचक आलेख जनवरी २०१३ केर पहिले अंकसँ देल गेल।नासिक (महाराष्ट्र) सँ पत्रिका निकलल आ मिथिलाक धरती पर पठाओल जाए लागल। लोकमे उत्साह बढ़ैत गेल आ मिथिलाक्षरयुक्त पत्रिकाक चर्चा आ विद्यालय सभमे वितरण सेहो होमय लागल। अनायास कतेको गोटेक सराहनाक चिट्ठी-पत्री आबय लागल, बहुतोंसँ संपर्क भेल, फोन पर गप्प भेल आ योजनाक प्रारूप बनय लागल।

(२) प्रारूपक क्रममे ई निर्णय लेल गेल जे सर्वप्रथम प्रस्तावित मिथिलाराज्यक तीसो जिलामे मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान चलाओल जाय। आ ताहि क्रममे पहिल बैसार ०९/१०/२०१४ ई.(कार्तिक कृष्ण प्रतिपदा) वृहस्पति दिन मधुबनी स्टेशनक समीप श्री ज्योतिरमण झा बाबा’क निवास स्थानक दलान पर भेल। एहिमे रिटायर्ड-आई ए एस(IAS) श्रीमान जीबछ झा अध्यक्षता कयलन्हि। अहि बैसारमे रिटायर्ड डी.आइ.जी. श्री चंद्रशेखर लाल दास मुख्य अतिथि छलाह। संगहि बहुतों गणमान्य लोकनिक उपस्थितिमे बैसार सफल भेल।
विस्तृत चर्चा भेलैक आ अभियानक योजनानुरूप जन-जागरण शुरू भेलैक। चूँकि अभियानक पहिल बैसार ०९ अक्टूबर २०१४ ई. कs भेल, तs ई निर्णय लेल गेल की ०९ अक्टूबर मिथिलाक्षर साक्षरता अभियानक स्थापना दिवस कहायत आ ई दिन मिथिलामे ‘मिथिलाक्षर दिवस’क रूपमे आब जानल जायत, कारण लुप्तप्राय मिथिलाक्षर केर पुनः जीवन प्रदान करयवाला ई अभियान भेल, अन्यथा मिथिलाक्षर प्रायः इतिहास बनि गेल छल।

(३) तिनिएँ-चारि महिनामे मिथिलाक्षरक प्रसारक शुभ समाचार सब भेटय लागल।सौराठ माध्यमिक विद्यालयमे अध्यापक, प्रधानाध्यापिका पत्रिकामे देल मिथिलाक्षरक अभ्यासक माध्यमसँ छात्र-छात्रा सभकेँ अभ्यास करबौलनि आ मात्र एक्के महिनामे १० टा नेना मिथिलाक्षर सिखलक।

१५ फरवरी २०१५ ईस्वीकेँ मधुबनी जिलाक माध्यमिक शिक्षक संघ भवनमे “मैथिल पुनर्जागरण प्रकाश रजि” पत्रिकाक उपक्रममे प्रथम सम्मान समारोह भेलै जाहिमे मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान द्वारा सिखाओल गेल १० टा नेनाकेँ सम्मानित कयल गेल।ओहि छात्र-छात्राक परीक्षा समारोहेमे लेल गेल छलैक। नेना सभक ओहि उपलब्धिकेँ बहुत पैघ आँकल गेलैक, कियैक तs यैऽह १० टा बीज मिथिलाक्षर केर पुनः व्यवहारमे आनय केर सामर्थ्य रखैत छलैक। तखनि इ समारोह आ मिथिलाक्षर साक्षरता अभियानक चर्चा प्रायः सभ अखबारक सुर्खी छल।

(४) संचार क्रांतिक प्रभाव बढ़ला पर दिसम्बर २०१५ मे व्हाट्सएप आ फ़ेसबुकक माध्यमसँ मिथिलाक्षर सिखेनाई केर काज आरंभ भेल। विभिन्न समूह पर अभियानीगण लोक सभकेँ नेहोरा करय लगलाह जे मिथिलाक्षर सीखू, फ़ेसबुक पर सेहो नेहोरा होमय लागल, कतेक उपहास सेहो उड़ाओल गेल। मुदा असली हीरा कतहुँ मानथि, पहिने स्वयं किछु गोटे सिखलैथ आ पुनः अपन प्रयाससँ इच्छुक लोक सभकें अभियानमे जोड़ैत गेलाह।अभियान पसरैत गेल।

शुरुआतमे लोकमे रुचि जगाबय लेल अनेक प्रयास आ प्रयोग पर प्रयोग करए पड़ल, कारण अक्षर देखिते अधिकतरकेँ अरुचि भऽ जाइत छलनि जे कथी लेल माथ खपाबी, एहिसँ की होयत। तथापि विभिन्न तरहें प्रयास जारी रहलै आ रुचि जगाबय केर खोज जारी रहलै। अंततः
प्रसिद्ध साहित्यकार डाॅ. योगानंद झा द्वारा उपलब्ध कराओल दरभंगा द्वारा प्रकाशित प्रोफेसर विश्वनाथ झा’क ‘मिथिलाक्षर अभ्यास पुस्तक’क आधार पर सिखाबय केर लेल क्रमशः तीन वर्ग बनाओल गेल आ तीन महिनाक मिथिलाक्षर प्रवीण कोर्सक पाठ्यक्रम निर्धारित भेल। ई पुस्तक मार्ग बनाबयमे अत्यधिक सहायक भेल। पुनः सिखाबय लेल ५५ टा वीडियो बनाओल गेल आ आब धीरे-धीरे गति पकड़य लागल ई अभियान। त्रैमासिक कोर्सक माध्यमसँ अभ्यासार्थीगण प्रवीण होमय लगलाह। सभटा निःशुल्क अभियान छैक। पुनः १५ दिन पर नव बैच शुरू होमय लागल, तत्पश्चात प्रति सप्ताह नव बैच शुरू होमय लागल। चौबीसों घंटा ई ऑनलाइन विद्यालय चलैत छैक, अभियानीगण २४ घंटा निःस्वार्थ भावें बलिदानीक रूपें अभ्यासार्थी सभकेँ मिथिलाक्षर प्रवीण बनाबयमे जुटि गेलाह आ ‘सिखू-सिखाउ’ परिकल्पना केर आधार पर धीरे-धीरे मिथिलाक्षर क्रांति आबि गेल।

(५) दोसर सम्मान समारोह १८ फरवरी २०१८ ईस्वीकेँ मुंबई केर सेंट जेवियर्स इन्टरनेशनल स्कूल आधारवाड़ी, कल्याणमे सम्पन्न भेल, जाहिमे सात टा बैचक प्रवीण सभकेँ प्रमाण-पत्रसँ सम्मानित कयल गेल। पुनः दुइये महिनाक पश्चात ३० अप्रैल २०१८ ई. कऽ मधुबनीमे तेसर सम्मान समारोह ‘होटेल क्लाउड नाइन’मे आयोजन भेल। समारोहक पूर्वे दिन प्रेस कॉन्फ्रेंस भेल आ मीडिया एहि अद्भुत अभियानक अद्भुत समारोह केर सबतरि पसारि देलक। पुनः चारिम सम्मान समारोह राजधानी दिल्लीक राजेन्द्रभवनमे भेल जाहिमे लगभग १५० टा मिथिलाक्षर प्रवीणकेँ सम्मानित कयल गेल। एतबे नहिं, तीव्र गतिसँ बढ़ैत मिथिलाक्षर प्रवीण जन एवं एहि केर लेल अभियानक प्रयासरत अभियानवीर लोकनिक सम्मानमे ९ दिसम्बर २०१८ ई. कs पाँचम मिथिलाक्षर साक्षरता सम्मान समारोह दरभंगाक होटेल कृष्णा रेजीडेंसीमे भेल जकर चर्चा यत्र-तत्र-सर्वत्र भेल आ अखन तक भऽ रहल अछि।कारण एहि समारोहमे २४२ टा मिथिलाक्षर प्रवीण, तहिना २१ टा संरक्षक /संरक्षिका, २१ टा निर्देशक/निर्देशिका, ५० टा मार्गदर्शक/मार्गदर्शिका एवं दू गोटेकेँ सर्वोच्च ‘उत्कृष्ट मार्गदर्शन’क लेल सम्मानित कयल गेलन्हि।

२८ जुलाई २०१९ ईस्वीकेँ जमशेदपुरमे छठम अविस्मरणीय मिथिलाक्षर साक्षरता सम्मान समारोह होटल “द केनेलाईट”मे आयोजित भेल, जाहिमे मिथिलाक्षर प्रवीणक रूपमे बैच ४४ सँ ७३ तकक ६०१ अभियानी सम्मानित भेलाह/भेलीह वा नामक घोषणा भेलन्हि। एहिमे ७६ टा संरक्षक/संरक्षिका ,५५ टा सँ बेसी निर्देशक/निर्देशिका आ २८ टा सँ बेसी मार्गदर्शक/मार्गदर्शिका आ बाँचल सभ गोटे मिथिलाक्षर प्रवीणक सम्मान प्राप्त कयलन्हि वा नामक घोषणा भेल।

सातम सम्मान समारोह १७ – ११ – २०१९ कऽ ‘होटल संगम विहार’, सहरसामे भेल, एहिमे मिथिलाक्षर प्रवीणक रुपमे बैच ७४ सँ ८८ तकक ३१८ गोटेकें मिथिलाक्षर प्रवीण सम्मान, ३६ गोटे कें संरक्षक (मिथिलाक्षरक महामहोपाध्याय), २४ गोटेकेँ निर्देशक सम्मान, ३९ गोटेकेँ मार्गदर्शक सम्मान एवं अनेक अभियानी विभिन्न प्रकारक विशिष्ट सम्मानसँ सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलनि।

२०२० साल कोरोना महामारीक चपेटमे रहल, फलतः धरातलीय सम्मान समारोह नहिं भऽ सकल, मुदा एहि अवधिमे रेकार्ड् मिथिलावासी आनलाईन कोर्सक माध्यमसँ मिथिलाक्षर सिखलैथ, पुनः आठम सम्मान समारोह ‘विद्यापति भवन, चेतना समिति, पटनामे १४-०२-२०२१ कऽ भेल। पटनाक समारोहमे बैच ८९ सँ १४८ तकक प्रायः २३०० मिथिलाक्षर प्रवीण सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलनि, तहिना अनेकानेक संरक्षक (मिथिलाक्षरक महामहोपाध्याय), निर्देशक, मार्गदर्शक आदि सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलनि , फलस्वरूप मिथिलाक्षरक गुंज विधानसभामे सेहो जोरदार ढंगसँ भेल।

तत्पश्चात नवम सम्मान समारोह होटल जानकी इन्टरनेशनल पुनौराधाम, सीतामढ़ीमे १२-११-२०२१ कऽ भेल। सीतामढ़ीक समारोहमे बैच १४९ सँ १८३ तकक प्रायः ९६८ टा मिथिलाक्षर प्रवीण सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन, तहिना अनेकानेक संरक्षक, निर्देशक, मार्गदर्शक आदि सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन।

पुनः दशम सम्मान समारोह एमएलएसएम कालेज दरभंगामे ११-०९-२०२२ कऽ भेल। एहि दरभंगाक समारोहमे बैच १८४ सँ २२६ तकक प्रायः ६१२ टा मिथिलाक्षर प्रवीण सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन, तहिना अनेकानेक संरक्षक, निर्देशक, मार्गदर्शक आदि सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन।

तकर बाद पुनः एगारहम सम्मान समारोह ‘मिथिला भवन, संगम विहार, दिल्लीमे ०३-०९-२०२३ कऽ भेल। एहि दिल्लीक समारोहमे बैच २२७ सँ २५५ तकक प्रायः १९० टा मिथिलाक्षर प्रवीण सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन, तहिना अनेकानेक संरक्षक, निर्देशक, मार्गदर्शक आदि सम्मानित भेलैथ वा नामक घोषणा भेलैन, संगहि छः गोटेकेँ उत्कृष्ट सम्मान, दू गोटेकेँ संजीवनी सम्मान, आठ गोटेकेँ व्यवस्थापन सम्मान एवं पुर्व घोषित उपस्थित ०४ गोटेकेँ मिथिलाक्षर गौरव सम्मान भेटल।

एकटा आर खास बात जे मिथिलाक्षर साक्षरता अभियानक प्रत्येक सम्मान समारोहमे दू टा उत्कृष्ट अभियनीकेँ उत्कृष्ट मार्गदर्शनक सम्मान देल जायत छनि, जिनका Man of the series कहि सकैत छी ।

६) अखन वर्तमानमे एहि अभियानमे ,पुरुष वर्गक ३२ टा, स्त्री वर्गक २३ टा अर्थात कुल ५५ टा समूह (आनलाईन विद्यालय) पाठशालाक रूपमे काज कऽ रहल अछि।
एतबहि नहिं, देशमे बहुतो ठाम धरातलीय कार्यशाला सेहो चलि रहल अछि। जेनाकि दिल्लीमे, दरभंगामे, जमशेदपुरमे, तहिना अनेको शिक्षक-शिक्षिका अभियानी द्वारा विभिन्न स्थानक विद्यालय सभमे, संगहि निज स्तरसँ भिन्न-भिन्न स्थान पर कार्यशाला चलाओल जा रहल अछि, आओर मिथिलाक तीसो जिला एवं नगर-महानगरमे जतय-जतय मिथिलावासी छथि कार्यशाला चलाओल जायत, ताहि क्रममे अभियान धीरे-धीरे आगू बढ़ि रहल अछि एवं अभियानीगण स्वरूचिसँ क्षेत्रक प्रति अद्भुत स्वाभिमान, त्याग ओ बलिदानक भावनासँ एहि पुनीत काजमे आगू आबि रहल छथि।

०७) योग्य अध्यापकक माध्यमसँ योग्य रितिसँ क्रमशः तीन टा परीक्षा पास कयलाक बाद कियो एतय मिथिलाक्षर प्रवीण बनैत छथि , जिनका मिथिलाक्षरक उपाध्याय/अध्यापक कहल जाइत छनि तथा प्रत्येक अध्यापक प्रायः Off Record अपना प्रयाससँ सय गोटे तक मिथिलाक्षर पहुंचेथिन तकर धारणा राखल जाइत छैक आ स्वैच्छिक रुपसँ अपन सुविधा ओ समय अनुसार ई काज करय लेल निर्देशित ओ प्रेरित कयल जाइत छैक, कियो कम तऽ कियो बेसी मुदा औसत सय गोटे प्रति प्रवीण मिथिलाक्षरक प्रसार प्रायः करैत छथि, ताहि अनुपातमे एखनि तक मिथिलाक्षर साक्षरता अभियान प्रायः ६००० On Record मिथिलाक्षर प्रवीणक निर्माण कय चुकल , अर्थात हुनका सबहक माध्यमसँ लगभग ६ लाख मिथिलावासी तक मिथिलाक्षर पहुंच गेल, ई कहब कोनो अतिशयोक्ति नहिं हेतैक।
तऽ ई एखनुक उपलब्धि छैक निःशुल्क मिथिलाक्षर साक्षरता अभियानक।

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