पटना
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बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) केर 70म पीटी परीक्षा रद्द करबाक मांग पर 2 जनवरीसँ भूख हड़ताल पर बैसल जन सुराजक संस्थापक प्रशांत किशोरकेँ पटना पुलिस सोम दिन भोर गांधी मैदानसँ गिरफ्तार कयलक। चिकित्सा जाँचक बाद पुलिस हुनका अदालतमे पेश कयलक आ अदालत हुनका जमानत दऽ देलक। मुदा प्रशांत किशोर सशर्त जमानत लेबासँ मना कऽ देलनि। ओ कहलनि जे ओ सशर्त जमानतो नहि लेताह आ आमरण अनशन सेहो नहिं तोड़ताह।
प्रशांत किशोर कोर्ट परिसरमे कहलनि, “हम जमानतो नहि लेब आ अनशन सेहो नहिं तोड़ब। जेलमे भूख हड़ताल जारी रहत। एकरा रोकब तऽ एहि लोक सभक मोन बढ़ि जाएत। प्रशासनकेँ निपटए दिअ। ई लोकसभ ई सोचि कऽ अनने छलाह जे हुनका जमानत भेटत आ अनशन खतम भऽ जायत, मुदा आब लड़ाई बहुत दिन धरि चलत।”
एहि दौरान ओ पुलिस द्वारा कोनो तरहक दुर्व्यवहारसँ सेहो इनकार कयने छथि। ओ एहि बातसँ इनकार कयलनि जे हुनका एकटा पुलिसकर्मी थप्पड़ मारलक। ओ कहलनि जे पुलिस हुनका सङ्ग दुर्व्यवहार नहि कयलक। हमर लड़ाई पुलिससँ नहि अछि।
एहिसँ पहिने पटना सिविल कोर्ट हुनका २५,००० रुपैयाक निजी मुचलका पर जमानत देलक। मुदा ओ सशर्त जमानत लेबय लेल तैयार नहि छलाह। वास्तवमे, न्यायालय भविष्यमे एहेन गलती नहि दोहरयबाक आदेश देलक। प्रशांत किशोर मानैत छथि जे जँ अहाँ अदालतक शर्त स्वीकार करब तखनि भविष्यमे धरना-प्रदर्शन नहिं कऽ सकब, जे समाजक हितमे नहि होयत। अतः ओ सशर्त जमानत लेल तैयार नहि छथि। एहेनमे ओ जेल जयबाक लेल तैयार छथि।
एतय जन सुराजक कैप्टन मुकेश कहलनि जे बीपीएससी परीक्षार्थीक ई लड़ाई सरकार बदलि देत, जे आब शुरू भऽ गेल अछि। जाहि तरहें शांतिपूर्ण अनशनकेँ जबरदस्ती उठाओल गेल अछि, ओकरा पूरा बिहारमे छात्रक व्यापक समर्थन आ प्रदर्शनमे देखल जा सकैत अछि। ओ कहलनि जे एहि गांधी मैदानमे सरकार जेपी पर लाठीक प्रयोग करबाक गलती कयने छल, जकर परिणामस्वरूप देशभरिमे छात्र आन्दोलन देशक सरकार बदलि देलक।
कैप्टन मुकेश कहलनि जे ओही जेपी आन्दोलनक उपज वर्तमान सरकार पुलिसक क्रूर कारवाई कऽ अपन पैर पर कुरहड़ि मारलक अछि। ओ कहलनि गांधी प्रतिमाक समक्ष हिंसा पसारल गेल आ गाँधीजीक आदर्शकेँ बिसरि नीतीश कुमार छात्रक संग एहेन बर्ताव कय अपन कब्र खोधि रहल छथि।
यद्यपि प्राप्त टटका समाचार अनुसार पटनाक दीवानी अदालत जमानतक शर्त हटा देलक आ प्रशांत किशोर जेलसँ बाहर आबि गेल छथि।