चुनाव

बिना दस्तावेजक कऽ सकैत छी फॉर्म जमा’, मतदाता सूची विवादमे चुनाव आयोगक राहत

पटना समदिया
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चुनाव आयोग बिहारक जनताकेँ पैघ राहत देलक अछि। आब बिना कागजातक सेहो गणना फॉर्म जमा कएल जा सकैत अछि।

एहि साल बिहारमे विधानसभा चुनाव अछि। एहिसँ पहिने बिहारमे मतदाता सूचीक संबंधमे विवाद गरम भऽ गेल अछि। मतदाता सूचीक गहन संशोधनकेँ लऽ कऽ जारी विवादक बीच चुनाव आयोग नियममे पूरा ढील दऽ देलक अछि। आब बिना कागजातक सेहो गणना फॉर्म जमा कएल जा सकैत अछि।

एहि मुद्दा पर जारी राजनीतिक विरोधक असरि चुनाव आयोग पर पड़ल अछि। काल्हि बिहारक एकटा अखबारमे विज्ञापन दऽ कए चुनाव आयोग नियममे ढील देबाक गप कयलक अछि। कहल गेल अछि जे बिना फोटो आ बिना कागजातक कियो फॉर्म जमा करत तऽ ओकर फॉर्म सेहो स्वीकार कएल जाएत। ओ 25 जुलाईक बाद सेहो जरूरी कागजात अपलोड कऽ सकैत छथि।

निर्वाचन आयोग शनिदिन साँझ धरि किछु आंकड़ा जारी कयलक अछि। एकर अनुसार शनिदिन साँझ 5 बजे तक बिहारक कुल संभावित मतदातामे सँ करीब 14% फॉर्म जमा कऽ चुकल छथि, मुदा आब लगैत अछि जे ई लड़ाई फॉर्म, प्रक्रिया आ दस्तावेजसँ बेसी अविश्वासक छल।

जनतब जे बिहारमे स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन यानी वोटर इंटेंसिव टेस्टिंगक संबंधमे विवाद नहि रुकि रहल छल। चुनाव आयोगक अनुसार 25 जुलाई तक सब गिनतीक फार्म जमा करय पड़त, ई मामिला सुप्रीम कोर्ट धरि पहुंचि गेल अछि। एम्हर विपक्षी दलक मांग अछि जे चुनाव आयोग आम घरमे मिलय वाला कागजातकेँ स्वीकार करय। एहिमे आधार कार्ड, राशन कार्ड, मनरेगा जॉब कार्ड शामिल अछि। चुनाव आयोग जे 11 प्रमाणपत्र मांगि रहल अछि ओ आम तौर पर हर घरमे नहि भेटत।

विपक्षी दलक चुनाव आयोग पर भरोसा नहि अछि। हुनका सभकेँ लगैत छनि जे एहि प्रक्रियाक बाद लाखों आ करोड़ों मतदाता एहि सूचीसँ बाहर भऽ जाएत। एहिसँ सबसँ बेसी कष्ट हुनका सबकेँ होएत।

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