राष्ट्रीय शिक्षा दिवस अबुल कलाम आजाद द्वारा कयल गेल काजकेँ स्मरण करबाक दिन अछि। राष्ट्रीय शिक्षा दिवस भारतमे प्रतिवर्ष मनाओल जाइत अछि आ शिक्षाक परिवर्तनकारी शक्ति आ गुणवत्तापूर्ण शिक्षाकेँ सबके लेल सुलभ बनयबाक लेल आवश्यक प्रयासक वकालत करबाक लेल एकटा मंचक रूपमे काज करैत अछि।
स्वतंत्र भारतक पहिल शिक्षा मंत्री आ प्रमुख शिक्षाविद् मौलाना अबुल कलाम आजादक सम्मानमे प्रत्येक वर्ष हुनक जयंती दिवस पर ११ नवम्बरकेँ राष्ट्रीय शिक्षा दिवस मनाओल जाइत अछि।
ई दिन अबुल कलाम आजादक जयन्तीक सम्मान करैत अछि, हुनक अमूल्य योगदानक लेल हुनका १९९२ मे मरणोपरांत भारतक सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार भारत रत्नसँ सेहो सम्मानित कयल गेल छल।
भारत सरकार देशक शिक्षा प्रणालीमे मौलाना अबुल कलाम आजादक योगदानक स्मरणमे सितम्बर २००८ मे ११ नवम्बरकेँ राष्ट्रीय शिक्षा दिवसक रूपमे घोषित कयलक।
१८ नवम्बर १८८८ केँ जन्मल आजाद भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेसक स्वतंत्रता सेनानी, शिक्षाविद्, विद्वान आ वरिष्ठ नेता छलाह।
ओ अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआईसीटीई) आ विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) सन शीर्ष शिक्षा निकायक स्थापना कयलनि।
एकर अतिरिक्त, ओ देशक पहिल भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, आईआईटी खड़गपुरक स्थापना सेहो कयलनि आ हुनक मार्गदर्शनमे भारतीय सांस्कृतिक सम्बन्ध परिषद (आईसीसीआर), वैज्ञानिक आ औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सी.एस.आई.आर.), साहित्य अकादमी, ललित कला अकादमी, संगीत नाटक अकादमी आ परिषद सहित कतेको शैक्षणिक संस्थानक स्थापना कयल गेल।
आजाद स्वतंत्र भारतमे ग्रामीण गरीब आ बालिकाकेँ शिक्षित करब, प्रौढ़ साक्षरता, सार्वभौमिक प्राथमिक शिक्षा आ माध्यमिक शिक्षा एवं व्यावसायिक प्रशिक्षणक विविधीकरण पर ध्यान केन्द्रित कयलनि।
मौलाना अबुल कलाम आजाद भारतक शिक्षा प्रणालीकेँ महत्वपूर्ण रूपसँ प्रभावित कयलनि, तेँ ई दिन हमरासभकेँ मौलिक अधिकार आ सामाजिक प्रगतिक रूपमे शिक्षाक महत्वक स्मरण कराबैत अछि।
ई दिन भारतक भविष्यकेँ आकार देबामे शिक्षाक महत्वपर सेहो प्रकाश दैत अछि। भारत सरकार मजबूत शिक्षा बुनियादी ढाँचाक निर्माणक लेल समर्पित अछि जे छात्रसभक समग्र विकासकेँ बढ़ावा दैत अछि आ युवा सभकेँ राष्ट्रकेँ प्रगति पथ पर लऽ जयबाक लेल सशक्त बनबैत अछि।